Tuesday, 11 September 2012

मनुष्यता....

निजता का ध्यान कर
स्वयं का सम्मान कर।
है मनुष्य तो मनुष्यता
के लिये बलिदान कर।

प्रकाश के प्रचारकों को,
आलोक-पुंज धारकों को।
दिव्य के प्रसारकों को
रश्मि-किरण दान कर।।

नवीन का संचार हो
और ज्ञान का विस्तार हो।
अद्वैत सदाचार हो तू
ऐसा अनुष्ठान कर।।
-
सलमान 'ख़याल'

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